प्रधानमंत्री ने दिल्ली स्थित ‘भारत मंडपम’ में अखिल भारतीय शिक्षा समागम का किया उद्घाटन

| Published on:

प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने 29 जुलाई को दिल्ली स्थित ‘भारत मंडपम’ में अखिल भारतीय शिक्षा समागम का उद्घाटन किया। यह राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 (एनईपी 2020) की तीसरी वर्षगांठ के समय के साथ-साथ ही आयोजित हो रहा है। उन्होंने पीएम श्री योजना के तहत फंड की पहली किस्त भी जारी की। 6207 स्कूलों को कुल 630 करोड़ रुपये की राशि के बराबर की पहली किस्त प्राप्त हुई। श्री मोदी ने 12 भारतीय भाषाओं में अनूदित शिक्षा और कौशल पाठ्यक्रम की पुस्तकों का भी विमोचन किया।

उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि 21वीं सदी का भारत जिन लक्ष्यों के साथ आगे बढ़ रहा है, उन्हें अर्जित करने में हमारी शिक्षा प्रणाली की बहुत बड़ी भूमिका है। उन्होंने कहा कि एनईपी में पारंपरिक ज्ञान और भविष्य की प्रौद्योगिकियों को समान महत्व दिया गया है।

श्री मोदी ने कहा कि एनईपी के तहत राष्ट्रीय पाठ्यचर्या ढांचा शीघ्र ही सामने आएगा। 3-8 साल के छात्रों के लिए रूपरेखा तैयार है। पूरे देश में एक समान पाठ्यक्रम होगा और एनसीईआरटी इसके लिए नए पाठ्यक्रम की पुस्तकें तैयार कर रहा है। प्रधानमंत्री ने बताया कि क्षेत्रीय भाषाओं में दी जा रही शिक्षा के परिणामस्वरूप 22 विभिन्न भाषाओं में कक्षा 3 से 12 के लिए लगभग 130 विभिन्न विषयों की नई पुस्तकें आ रही हैं।

श्री मोदी ने कहा कि किसी भी छात्र के साथ सबसे बड़ा अन्याय यह है कि उसकी क्षमता के बजाय उसकी भाषा के आधार पर उसका आकलन किया जाए। प्रधानमंत्री ने कहा कि मातृभाषा में शिक्षा भारत में छात्रों के लिए न्याय के एक नए रूप की शुरुआत कर रही है। यह सामाजिक न्याय की दिशा में भी एक बहुत ही उल्लेखनीय कदम है।

श्री मोदी ने रेखांकित किया कि सामाजिक विज्ञान से लेकर इंजीनियरिंग तक के विषय अब भारतीय भाषाओं में पढ़ाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि हमें अमृत काल के आगामी 25 वर्षों में एक ऊर्जावान नई पीढ़ी तैयार करनी है।