40 प्रतिशत गांवों ने खुद को किया ओडीएफ प्लस घोषित

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केन्द्रीय जल शक्ति मंत्री श्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने 31 मार्च को स्वच्छ भारत मिशन – ग्रामीण चरण- II के तहत केवल एक वर्ष में भारत में ओडीएफ प्लस गांवों में पांच गुना वृद्धि की उपलब्धि की सराहना की, जिसमें भारत के 40 प्रतिशत गांवों ने खुद को ओडीएफ प्लस घोषित किया है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि ओडीएफ प्लस गांव मार्च, 2022 में 46,121 (7.4 प्रतिशत) से बढ़कर मार्च, 2023 में 2,38,973 गांव (40.21 प्रतिशत) हो गए। श्री शेखावत ने आगे कहा कि इनमें से 2,38,973 ओडीएफ प्लस गांवों में 1,60,709 ओडीएफ प्लस आकांक्षी श्रेणी में, 27,409 ओडीएफ प्लस राइजिंग श्रेणी में और 50,855 ओडीएफ प्लस मॉडल श्रेणी में हैं।

श्री शेखावत ने मार्च, 2022 में केवल 46,480 की तुलना में 2.38 लाख से अधिक ओडीएफ प्लस गांव होने के लक्ष्य को हासिल करने के लिए राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की सराहना की। संयुक्त राष्ट्र जल सम्मेलन 2023 में अपनी हालिया भागीदारी का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि भारत ने दुनिया भर में पहचान अर्जित की है और स्वच्छता के क्षेत्र में इसे रोल मॉडल माना जाता है। स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण, जिसने पूरे ग्रामीण भारत में स्वच्छता की पहुंच सुनिश्चित की, वास्तव में एक गेम चेंजर रहा है।

केंद्रीय मंत्री ने यह भी घोषणा की कि सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की वार्षिक कार्यान्वयन योजनाओं (एआईपी) पर विचार करने के लिए 28 मार्च, 2023 को हुई राष्ट्रीय योजना स्वीकृति समिति (एनएसएससी) ने राज्य/केंद्रशासित प्रदेशों के बजट को मंजूरी दे दी है। इसके तहत वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए एसबीएम-जी चरण-II की गतिविधियों के लिए 52,049 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। वित्त वर्ष 2023-24 के लिए केंद्रीय शेयर कोष में 14,030 करोड़ रुपये के अस्थायी आवंटन को लेकर राज्यों को सूचित कर दिया गया है।