उत्तर प्रदेश में प्रधानमंत्री द्वारा 60,000 करोड़ रुपये की 81 परियोजनाओं का शिलान्यास

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प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने 29 जुलाई को लखनऊ का दौरा किया। उन्होंने उत्तर प्रदेश में लगभग 60,000 करोड़ रुपये की कुल लागत के साथ 81 परियोजनाओं का शिलान्यास किया। दरअसल, ये परियोजनाएं राज्य में निवेश को आकर्षित करने एवं औद्योगिकीकरण को बढ़ावा देने के लिए फरवरी, 2018 में आयोजित उत्तर प्रदेश निवेशक सम्मेलन के कुछ महीनों के भीतर ही अस्तित्व में आयीं।

प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि एक देखभाल करने वाली सरकार के रूप में हमारा उद्देश्य लोगों के जीवन से कठिनाईयों को दूर करना एवं जीवन की सुगमता में सुधार लाना है। उन्होंने कहा कि आज का कार्यक्रम उत्तर प्रदेश राज्य को रूपांतरित करने के प्रयासों का एक हिस्सा है।

उन्होंने राज्य सरकार को इस उपलब्धि के लिए बधाई दी। उन्होंने कहा कि ये परियोजनाएं राज्य के विशिष्ट भागों तक सीमित नहीं हैं, बल्कि ये संतुलित विकास में सक्षम बनाएंगी। उन्होंने राज्य सरकार की कार्य संस्कृति की सराहना की। उन्होंने कहा कि राज्य में निवेश के बदले माहौल से रोजगार, व्यापार, अच्छी सड़कों, पर्याप्त बिजली आपूर्ति और एक बेहतर भविष्य के लिए अवसर खुल रहे हैं।

श्री मोदी ने कहा कि प्रदेश के औद्योगिक विकास मंत्री सतीश महाना बहुत संकोच से कह रहे थे कि 60 हजार करोड़ रुपये का निवेश हुआ है। ‘यह ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी नहीं रिकॉर्ड ब्रेकिंग सेरेमनी है।’ उन्होंने कहा कि इतने कम समय में प्रक्रिया को सरल कर इतना बड़ा निवेश बड़ी बात है। मैं भी बहुत लंबे अरसे तक मुख्यमंत्री रहा हूं। औद्योगिक गतिविधियों से जुड़ा रहा हूं। यह निवेश कम नहीं है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि प्रक्रियाओं में गति भी दिखे और संवेदनशीलता भी, ना अपना, ना पराया, ना छोटा, ना बड़ा, सबके साथ समान व्यवहार…’सबका साथ, सबका विकास’। उन्होंने कहा, ‘मैंने उत्तर प्रदेश की 22 करोड़ जनता को वचन दिया था कि उनके प्यार को ब्याज़ समेत लौटाउंगा। यहां जो परियोजनाएं शुरु हो रही हैं वो उसी वचनबद्धता का हिस्सा हैं।

उन्होंने कहा कि ये परियोजनाएं कई नए रोजगार अवसर उपलब्ध कराएंगी और समाज के विभिन्न वर्गों को लाभान्वित करेंगी। उन्होंने कहा कि डिजिटल इंडिया और मेक इन इंडिया जैसे प्रमुख कार्यक्रमों को इन परियोजनाओं से बहुत बढ़ावा मिलेगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि आज पूरे ग्रामीण क्षेत्रों में तीन लाख कॉमन सर्विस सेंटर फैले हुए है, जो प्रभावी एवं पारदर्शी सेवा प्रदायगी को सक्षम बनाने के जरिये ग्रामीण जीवन में बदलाव ला रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार सिलो को समाप्त कर रही है एवं सॉल्यूशंस तथा सिंक्रोनाइजेशन पर ध्यान केंद्रित कर रही है।

उन्होंने कहा कि भारत विश्व का दूसरा सबसे बड़ा मोबाइल फोन निर्माता देश बन गया है और उत्तर प्रदेश इस विनिर्माण क्रांति का नेतृत्व कर रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा कि बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के पूरे हो जाने के बाद भारत में व्यवसाय करना और भी आसान हो जाएगा तथा लॉजिस्टिक्स पर आने वाली लागत में कमी आ जाएगी। उन्होंने उद्यमियों एवं व्यापारियों से डिजिटल लेनदेन की दिशा में आगे बढ़ने का आग्रह किया।

प्रधानमंत्री ने देश में बिजली आपूर्ति में सुधार लाने के लिए उठाए गए कदमों को रेखांकित किया। उन्होंने कहा कि देश पारंपरिक ऊर्जा से हरित ऊर्जा की तरफ आगे बढ़ रहा है और उत्तर प्रदेश सौर ऊर्जा का एक हब बन जाएगा। उन्होंने कहा कि भारत का ऊर्जा घाटा 2013-14 के 4.2 प्रतिशत से घटकर आज एक प्रतिशत से भी कम रह गया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि नया भारत का रोडमैप जन भागीदारी के जरिये अपने लोगों की आकांक्षाओं की पूर्ति करना है।

साथ ही श्री मोदी ने देश के कुछ भागों में हो रही भारी वर्षा का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार स्थिति की निगरानी कर रही है और सभी प्रभावित लोगों को सहायता प्रदान करने के लिए राज्य सरकारों के साथ काम कर रही है।